IANS
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July 2, 2025 8:50 AM
नई दिल्ली, 2 जुलाई (आईएएनएस)। कालों के काल महाकाल। द्वादश ज्योतिर्लिंग में तीसरे नंबर पर पूजे जाते हैं। कलयुग के कर्ता धर्ता और प्राणियों के काल हरने वाले महाकाल। यहां महादेव एक मात्र दक्षिणमुखी ज्योतिर्लिंग के तौर पर विराजते हैं। वास्तु में दक्षिण दिशा के स्वामी मृत्यु के देवता यमराज को माना गया है। मृत्यु से परे होने के कारण ही भगवान महाकाल को ये नाम दिया गया है। इसलिए यह भी मान्यता है कि जो भी सच्चे मन से भगवान महाकालेश्वर के दर्शन व पूजन करता है उसे मृत्यु उपरांत यमराज द्वारा दी जाने वाली यातनाओं से मुक्ति मिल जाती है।