डायबिटीज से लेकर दिल की सेहत तक, चपाती से मिलते हैं कई फायदे

IANS | August 6, 2025 11:04 AM

नई दिल्ली, 6 अगस्त (आईएएनएस)। आज के दौर में हमारी जीवनशैली जितनी तेज और व्यस्त हो गई है, उतनी ही असंतुलित भी। भागदौड़ भरी दिनचर्या, बैठे-बैठे काम करने की आदतें और जंक फूड से भरा खान-पान, ये सब मिलकर हमारी सेहत को बुरी तरह प्रभावित कर रहे हैं। नतीजा यह होता है कि लोग कम उम्र में ही डायबिटीज, हाई ब्लड प्रेशर, मोटापा और दिल से जुड़ी बीमारियों का शिकार हो रहे हैं। ऐसे में स्वस्थ रहने के लिए सबसे पहले अपने खाने की थाली में बदलाव करना जरूरी है। इस कड़ी में एक बेहद साधारण लेकिन असरदार चीज जो आपके रोज के खाने में शामिल हो सकती है, वह है 'चपाती'।

मांसपेशियों के दर्द से हैं परेशान? ये पांच योगासन दिलाएंगे आराम

IANS | August 6, 2025 9:18 AM

नई दिल्ली, 6 अगस्त (आईएएनएस)। भागदौड़ भरी जिंदगी, घंटों तक एक ही मुद्रा में बैठना या खड़े रहना, और बढ़ती उम्र... ये सभी कारण आज लोगों में पैरों और मांसपेशियों के दर्द की प्रमुख वजह बन गए हैं। ऐसे में योगासन एक प्रभावी और प्राकृतिक उपाय है, जो न केवल शरीर को लचीला बनाता है, बल्कि पैरों की मांसपेशियों, हड्डियों और जोड़ों को मजबूती भी देता है। अगर आपको अक्सर पैरों या पीठ में दर्द की समस्या रहती है, तो कुछ आसन आपके लिए लाभकारी साबित हो सकते है।

6 अगस्त के ही दिन भारत ने रचा था इतिहास, पहली टेस्ट ट्यूब बेबी का हुआ था जन्म

IANS | August 5, 2025 6:40 PM

नई दिल्ली, 5 अगस्त (आईएएनएस)। जब भी इंसान के सामने चुनौतियां आई हैं तो उसने इस यात्रा को आसान बनाने के लिए विज्ञान का सहारा लिया है। इंसान और विज्ञान के मेल ने न केवल समाधान निकाला है, बल्कि समाज और मानव जाति को भी नई दिशा देने का काम किया है।

ब्रेस्टफीडिंग वीक : नहीं भर रहा शिशु का पेट तो कौन सा दूध है बेस्ट?

IANS | August 5, 2025 4:15 PM

नई दिल्ली, 5 अगस्त (आईएएनएस)। मां बनना एक अनमोल एहसास है। एक मां अपने बच्चे के लिए हर वो चीज करना चाहती है, जो उसके स्वास्थ्य और भविष्य के लिए सबसे बेहतर हो। खासतौर पर जब बात होती है शिशु के पहले छह महीनों की, तो मां की जिम्मेदारी और भी बढ़ जाती है, क्योंकि यह वह समय होता है जब बच्चे का विकास हर दिन तेजी से हो रहा होता है। ऐसे में मां का दूध ही बच्चे के लिए सर्वोत्तम पोषण माना जाता है। लेकिन कुछ मामलों में जब मां का दूध पर्याप्त मात्रा में नहीं बनता या किसी कारणवश बच्चा स्तनपान नहीं कर पाता, तो माता-पिता के मन में एक ही सवाल उठता है कि क्या गाय या भैंस का दूध दिया जा सकता है?

टीबी के लिए बेहद घातक है डायबिटीज, इलाज के विफल रहने पर बढ़ सकता है मौत का खतरा

IANS | August 5, 2025 3:39 PM

नई दिल्ली, 5 अगस्त (आईएएनएस)। विशेषज्ञों ने मंगलवार को बताया कि डायबिटीज लगातार रोग प्रतिरोधक क्षमता को कमजोर करता है, जिससे टीबी के मरीजों का स्वास्थ्य बिगड़ता है और मृत्यु का जोखिम बढ़ जाता है।

भागदौड़ भरी लाइफस्टाइल में स्वस्थ रहने के लिए अपनाएं 'प्राकृतिक नुस्खे'; वात, पित्त और कफ को ऐसे करें संतुलित

IANS | August 5, 2025 1:22 PM

नई दिल्ली, 5 अगस्त (आईएएनएस)। आजकल की भागदौड़ भरी लाइफस्टाइल में मानसिक या शारीरिक समस्याएं आम सी बातें बनकर रह गई हैं। हालांकि, भारतीय चिकित्सा पद्धति या आयुर्वेद के पास इससे बचने का रास्ता भी है। आयुर्वेद बताता है कि 'प्राकृतिक नुस्खे' जिंदगी में स्वस्थ रहने का जरिया है। ये वात, पित्त और कफ को संतुलित करता है। जिससे कई समस्याएं कोसो दूर भाग जाती हैं।

महिलाओं में क्रॉनिक इन्फ्लेमेशन से कमजोरी और हृदय रोग का खतरा : अध्ययन

IANS | August 5, 2025 12:36 PM

नई दिल्ली, 5 अगस्त (आईएएनएस)। एक नए अध्ययन के अनुसार क्रॉनिक इन्फ्लेमेशन महिलाओं में कमजोरी, सामाजिक असमानता और हृदय रोग (सीवीडी) के बढ़ते जोखिम से जुड़ी हो सकती है।

स्लिप डिस्क की समस्या में राहत दिला सकते हैं ये पांच योगासन, मन को भी करते है शांत

IANS | August 5, 2025 9:16 AM

नई दिल्ली, 5 अगस्त (आईएएनएस)। आज के समय में खराब जीवनशैली, घंटों बैठकर काम करना और शारीरिक गतिविधियों की कमी के कारण स्लिप डिस्क यानी 'हर्नियेटेड डिस्क' की समस्या तेजी से बढ़ रही है। यह एक ऐसी स्थिति है जिसमें रीढ़ की हड्डी के बीच मौजूद डिस्क अपनी जगह से खिसक जाती है, जिससे तेज पीठ दर्द, चलने-फिरने में दिक्कत और यहां तक कि नसों पर दबाव पड़ने से शरीर के अन्य भागों में भी दर्द फैल सकता है। आयुर्वेद और योग में इसका इलाज संभव है, और नियमित रूप से विशेष योगासनों का अभ्यास करके इस समस्या में राहत पाई जा सकती है।

एचआईवी पॉजिटिव मां भी करा सकती है सुरक्षित स्तनपान, जानें क्या रखनी होगी सावधानी

IANS | August 4, 2025 4:31 PM

नई दिल्ली, 4 अगस्त (आईएएनएस)। मां बनना हर महिला के जीवन का सबसे खास अनुभव होता है, लेकिन अगर महिला एचआईवी पॉजिटिव हो, तो यह सफर थोड़ा मुश्किल हो सकता है। ऐसे में मां और उसके बच्चे की सेहत को लेकर कई सावधानियां बरतनी पड़ती हैं। पहले ऐसा माना जाता था कि एचआईवी पॉजिटिव महिला के बच्चे को भी यह संक्रमण हो जाएगा, लेकिन अब समय बदल चुका है। अगर सही इलाज समय पर शुरू हो और डॉक्टरी सलाह का ठीक से पालन किया जाए, तो एचआईवी पॉजिटिव मां भी एक स्वस्थ बच्चे को जन्म दे सकती है और उसे स्तनपान करा सकती है।

मां बनने के बाद शुरुआती 45 दिन अहम, परहेज की क्यों दी जाती है सलाह?

IANS | August 4, 2025 3:37 PM

नई दिल्ली, 4 अगस्त (आईएएनएस)। एक महिला के जीवन में मां बनना सबसे सुखद पल होता है लेकिन यह खुशी आसान नहीं होती। डिलीवरी के समय महिला के शरीर को काफी कष्ट झेलना पड़ता है, जिसके चलते शारीरिक और मानसिक रूप से काफी थकान हो जाती है। शरीर में कमजोरी, पीठ दर्द, भूख न लगना जैसी समस्याएं होने लगती हैं। इस समय को आयुर्वेद में 'सुतिका काल' कहा गया है। यह डिलीवरी के बाद का लगभग 45 दिनों का समय होता है, जिसमें मां को खास देखभाल की जरूरत होती है। इस दौरान सही खानपान और आराम से महिला का शरीर पहले जैसे हालात में लौट सकता है और वह अपने बच्चे को अच्छे से दूध पिला सकती है।