अखंड भारत के निर्माता : फौलादी इरादे, लोहे सा जिगर और 565 रियासतों को जोड़ने वाले राष्ट्रनेता
नई दिल्ली, 14 दिसंबर (आईएएनएस)। 1910 के दशक के अहमदाबाद शहर के एक आलीशान क्लब में एक तेज-तर्रार वकील बैठा था। पश्चिमी सूट-बूट में सजा, सिगार का धुंआ उड़ाता हुआ और ब्रिज (ताश) खेल रहा था। उस समय, यह व्यक्ति महात्मा गांधी के विचारों को अव्यावहारिक मानता था और स्वतंत्रता आंदोलन को एक दूर का सपना देखता था।