नई दिल्ली, 20 अक्टूबर (आईएएनएस)। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने इस बार दीपावली का पर्व भारतीय नौसेना के साहसी जवानों के साथ समुद्र के बीच आईएनएस विक्रांत पर मनाया। यह यात्रा और दौरा अत्यंत गोपनीय तरीके से आयोजित किया गया।
दीपावली की पूर्व संध्या पर प्रधानमंत्री मोदी दिल्ली से गोवा के लिए रवाना हुए और वहां से गोवा तट पर तैनात भारत के स्वदेशी विमानवाहक पोत आईएनएस विक्रांत पर पहुंचे। इस दौरे की गोपनीयता ने इसे और भी खास बना दिया।
आईएनएस विक्रांत पर प्रधानमंत्री के कई कार्यक्रम आयोजित हुए, जो नौसेना की शक्ति और साहस का प्रतीक बने। उन्होंने फ्लाइट डेक पर लड़ाकू विमानों का शानदार प्रदर्शन देखा। दिन और रात के समय, छोटे रनवे से इन विमानों के उड़ान भरने और उतरने का नजारा बेहद रोमांचक था। इस वायु शक्ति प्रदर्शन ने नौसेना की ताकत और तकनीकी दक्षता को उजागर किया।
उन्होंने एक सांस्कृतिक कार्यक्रम में भी हिस्सा लिया, जिसमें नौसेना के अधिकारियों और नाविकों ने देशभक्ति गीत प्रस्तुत किए। इनमें विशेष रूप से ‘ऑपरेशन सिंदूर’ की सफलता पर आधारित एक गीत शामिल था, जिसने भारतीय सशस्त्र बलों की वीरता को दर्शाया। इस प्रदर्शन ने प्रधानमंत्री को काफी प्रभावित किया। उन्होंने इस अनुभव को सौभाग्यशाली बताते हुए नौसेना के साहस और समर्पण की सराहना की।
इसके अलावा, प्रधानमंत्री ने नौसेना कर्मियों और उनके परिवारों के साथ रात्रि भोज किया, जिससे जवानों का मनोबल और बढ़ा। अगली सुबह, उन्होंने आईएनएस विक्रांत के डेक पर योग सत्र में भाग लिया, जो न केवल शारीरिक स्वास्थ्य बल्कि मानसिक संतुलन का भी प्रतीक रहा।
उन्होंने एक शानदार स्टीमपास्ट और फ्लाईपास्ट का भी अवलोकन किया, जो नौसेना की सामरिक और तकनीकी क्षमता का प्रदर्शन था। अपने प्रेरक भाषण में उन्होंने नौसेना कर्मियों को संबोधित करते हुए उनकी वीरता, अनुशासन और देश के प्रति समर्पण की प्रशंसा की। इस दौरान उन्होंने जवानों को मिठाइयां खिलाकर दीपावली की खुशियां साझा कीं।
प्रधानमंत्री के इस दौरे ने न केवल नौसेना के जवानों का हौसला बढ़ाया, बल्कि यह भी दर्शाया कि भारत का नेतृत्व अपने सशस्त्र बलों के साथ कंधे से कंधा मिलाकर खड़ा है। यह दीपावली नौसेना के लिए एक अविस्मरणीय पल बन गई।
--आईएएनएस
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