आईआईटी कानपुर के शीर्ष पूर्व छात्र पुरस्कार से सम्मानित हुए सीईसी ज्ञानेश कुमार

आईआईटी कानपुर के शीर्ष पूर्व छात्र पुरस्कार से सम्मानित हुए सीईसी ज्ञानेश कुमार

कानपुर, 2 नवंबर (आईएएनएस)। भारत के मुख्य चुनाव आयुक्त ज्ञानेश कुमार को रविवार को आईआईटी कानपुर परिसर में आयोजित एक समारोह में विशिष्ट पूर्व छात्र पुरस्कार से सम्मानित किया गया।

भारतीय चुनाव आयोग (ईसीआई) ने सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म 'एक्स' पर एक पोस्ट में कहा, "यह एक गौरवपूर्ण क्षण है, जो लोक सेवा में उत्कृष्टता, सत्यनिष्ठा और नेतृत्व का जश्न मनाता है।"

एक बयान में कहा गया है कि 1989 में शुरू किया गया विशिष्ट पूर्व छात्र पुरस्कार (डीएए) आईआईटी कानपुर द्वारा अपने पूर्व छात्रों को उनकी उत्कृष्ट उपलब्धियों के लिए दिया जाने वाला सर्वोच्च पुरस्कार है।

संस्थान हर साल अपने पूर्व छात्रों के साथ मिलकर उत्कृष्ट उपलब्धियों, संस्थान के प्रति सेवा और समाज एवं राष्ट्र निर्माण में अनुकरणीय योगदान के लिए व्यक्तियों को सम्मानित करता है।

मुख्य चुनाव आयुक्त ज्ञानेश कुमार ने 1985 में आईआईटी कानपुर से सिविल इंजीनियरिंग में बी.टेक की डिग्री प्राप्त की और रविवार को संस्थान के 66वें स्थापना दिवस समारोह के दौरान उन्हें यह पुरस्कार प्रदान किया गया।

पूर्व प्राप्तकर्ताओं की सूची में शैक्षणिक उत्कृष्टता, उद्यमशीलता उत्कृष्टता, व्यावसायिक उत्कृष्टता और राष्ट्र सेवा के क्षेत्रों में उल्लेखनीय नाम शामिल हैं।

इससे पहले, मुख्य चुनाव आयुक्त ज्ञानेश कुमार ने बिहार में शांतिपूर्ण और पारदर्शी विधानसभा चुनाव का आश्वासन दिया और 'हिंसा के प्रति शून्य सहिष्णुता' की बात दोहराई।

मुख्य चुनाव आयुक्त ने एक कार्यक्रम के दौरान पत्रकारों से बातचीत करते हुए कहा, "चुनाव आयोग हिंसा के प्रति शून्य सहिष्णुता रखता है। बिहार में चुनाव शांतिपूर्ण, कानूनी और पूरी पारदर्शिता के साथ संपन्न होंगे, यह सुनिश्चित करते हुए कि प्रत्येक मतदाता को अपनी इच्छा व्यक्त करने और इस लोकतांत्रिक उत्सव में भाग लेने का अवसर मिले।"

मुख्य चुनाव आयुक्त ज्ञानेश कुमार ने कहा, "उम्मीद है कि बिहार के सभी मतदाता अपने मताधिकार का प्रयोग करेंगे।"

बिहार चुनाव का पहला चरण 6 नवंबर को, दूसरा चरण 11 नवंबर को और मतगणना 14 नवंबर को होगी।

उन्होंने कानपुर स्थित माथुर वैश्य समाज द्वारा आयोजित एक कार्यक्रम को संबोधित करते हुए बिहार मतदाता सूची के विशेष गहन पुनरीक्षण (एसआईआर) को मतदाता सूची के शुद्धिकरण के लिए दुनिया का सबसे बड़ा अभियान बताया।

उन्होंने कहा, "जिस दिन 12 राज्यों के 51 करोड़ मतदाताओं के नाम वाली मतदाता सूची शुद्ध हो जाएगी, वह ऐतिहासिक होगा और ऐसा पहले कभी नहीं किया गया।"

--आईएएनएस

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