नई दिल्ली, 18 नवंबर (आईएएनएस)। केंद्र सरकार की ओर से मंगलवार को दी गई जानकारी के अनुसार, डिजिटल इनोवेशन, युवाओं की बढ़ती मांग और क्रिएटिव एंटरप्रेन्योरशिप से सशक्त भारत का मीडिया और एंटरटेनमेंट सेक्टर देश की तेजी से बढ़ती इंडस्ट्री के रूप में उभर रहा है।
इस सेक्टर को लेकर अनुमान है कि यह 2027 तक सालाना आधार पर 7 प्रतिशत के सीएजीआर से बढ़ते हुए 3067 अरब रुपए के आंकड़े को छू लेगा।
एक नेशनल आउटलुक के अनुसार, यह सेक्टर 2030 तक बढ़कर 100 अरब अमेरिकी डॉलर का हो जाएगा, जो भारत के कंटेंट कंज्यूमिंग राष्ट्र से बौद्धिक संपदा के ग्लोबल क्रिएटर और एक्पोर्टर बनने की ओर संकेत करता है।
भारत का मीडिया और एंटरटेनमेंट सेक्टर आर्थिक रूप से वैल्यू एडिशन और रोजगार सृजन को लेकल महत्वपूर्ण रूप से अपना योगदान दर्ज करवा रहा है।
भारत की ओर से एनिमेशन और वीएफएक्स सर्विसेज में 40 से 60 प्रतिशत कॉस्ट-ए़डवांटेज मिलते हैं। इस सर्विस को एक लार्ज और स्किल वर्कफोर्स सपोर्ट करता है।
भारत को कई मायनों में ग्लोबल पोस्ट प्रोडक्ट वर्क के लिए एक आकर्षक गंतव्य के रूप में देखा जा रहा है। सेक्टर की बढ़ती वैश्विक महत्ता डिजिटल मीडिया में भी नजर आती है, जहां भारतीय ओटीटी कंटेंट की 25 प्रतिशत व्यूअरशिप देश की सीमाओं के बाहर से आती है।
यह भारत के क्रिएटिव आउटपुट के कमर्शियल अपील को ही नहीं दिखाता बल्कि कल्चर डिप्लोमेसी में इसकी बढ़ती भूमिका को भी दर्शाती है। क्योंकि भारतीय कहानियां अलग-अलग महाद्वीपों में लगातार इमोशनल और कल्चरल कनेक्शन को बनाने में योगदान दे रही हैं।
एनिमेशन, विजुअल इफेक्ट्स, गेमिंग, कॉमिक्स और एक्सटेंडेड रिएलिटी सेक्टर विकास के अहम कारक बन रहे हैं और इन्हें औपचारिक मान्यता मिल रही है, जिसके साथ भारत की क्रिएटिव इकोनॉमी बदलाव के नए दौर में प्रवेश कर चुकी है।
इसी के साथ एवीजीसी प्रमोशन टास्क फोर्स के गठन के साथ ही पॉलिसी की गति को भी 2022 से ही रफ्तार मिल चुकी है। इस टास्क फोर्स ने 'क्रिएट इन इंडिया' को ध्यान में रखते हुए नेशनल एवीजीसी-एक्सआर मिशन शुरू करने की सिफारिश की है, जिसके साथ भारत को डिजिटल कंटेंट क्रिएशन और क्रिएटिविटी का ग्लोबल हब बनाया जाएगा।
एवीजीसी प्रमोशन टास्क फोर्स की रिपोर्ट का अनुमान है कि आने वाले वर्षों में 20 लाख तक प्रत्यक्ष और अप्रत्यक्ष नौकरियों का सृजन होगा। साथ ही, देश की जीडीपी में सेक्टर का योगदान प्रोडक्शन, एक्सपोर्ट और अलाइड सर्विस के जरिए देखा जा सकता है।
--आईएएनएस
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