ढाका, 12 जुलाई (आईएएनएस)। बांग्लादेश में छात्र और स्क्रैप का काम करने वाले लाल चंद उर्फ सोहाग की हत्या के बाद जनाक्रोश फूट पड़ा है। दो दिन पहले ढाका में उसकी हत्या हुई थी। न्याय की मांग करते हुए ढाका में लोग सड़क पर उतर आए हैं।
ढाका में सर सलीमुल्लाह मेडिकल कॉलेज (मिटफोर्ड) अस्पताल के बाहर दिनदहाड़े लाल चंद उर्फ सोहाग की हत्या हुई थी। कथित तौर पर बुधवार शाम करीब 6 बजे अस्पताल के तीसरे गेट के पास कई लोगों ने मिलकर लोहे और सीमेंट के टुकड़ों से सोहाग को बेरहमी से मारा। ईंटों-पत्थरों से उसका सिर कुचल दिया। इसके बाद हमलावर उसके बेजान शरीर को घसीटकर सड़क पर ले गए, जहां सैकड़ों लोगों की मौजूदगी में उन्होंने अपनी क्रूरता जारी रखी।
स्थानीय मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक, कथित तौर पर जबरन वसूली इसकी मुख्य वजह थी। बांग्लादेश के प्रमुख अखबार द डेली स्टार की रिपोर्ट के अनुसार, बांग्लादेश नेशनलिस्ट पार्टी (बीएनपी) की युवा शाखा, जुबो दल के सदस्यों पर इस लिंचिंग में शामिल होने और जबरन वसूली के विवाद में हमला करने का आरोप है।
लाल चंद उर्फ सोहाग के साथ क्रूरता का वीडियो सीसीटीवी में कैद हो गया था। बाद में घटना का वीडियो सोशल मीडिया पर व्यापक रूप से प्रसारित हुआ, जिससे आक्रोश की लहर दौड़ पड़ी।
इस हत्याकांड के बाद ढाका के प्रमुख विश्वविद्यालयों के छात्रों में गुस्सा है। ढाका यूनिवर्सिटी (डीयू), बांग्लादेश इंजीनियरिंग एवं प्रौद्योगिकी यूनिवर्सिटी (बीयूईटी), जहांगीर नगर यूनिवर्सिटी, और राजशाही यूनिवर्सिटी जैसे संस्थानों में छात्रों ने विरोध प्रदर्शन किया।
बांग्लादेश स्टूडेंट्स राइट्स काउंसिल के अध्यक्ष बिन यामिन ने 'ढाका ट्रिब्यून' से कहा, "सोहाग की हत्या के खिलाफ उसी तरह सड़कों पर हैं, जैसे वो पहले अवामी लीग के समय में हुआ करते थे। बीएनपी अपने कार्यकर्ताओं को संभाल नहीं पा रही। जो कभी खुद पीड़ित थे, अब वही उत्पीड़क बन गए हैं।"
डीयू के छात्र एबी जुबैर ने भी इसी तरह की राय व्यक्त की और बीएनपी कार्यकर्ताओं पर आरोप लगाया कि वो देश को अपराधियों का अड्डा बना रहे हैं। उन्होंने कहा, "बीएनपी नेता और कार्यकर्ता देशभर में जबरन वसूली, बलात्कार और हत्या की वारदातों को अंजाम दे रहे हैं।"
प्रदर्शनकारियों ने यह भी दावा किया कि पिछले दस महीनों में लगभग 100 हत्याओं के लिए बीएनपी जिम्मेदार है। उन्होंने मांग की कि प्रत्येक मौत की जांच की जाए और न्याय सुनिश्चित किया जाए।
--आईएएनएस
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