देहरादून, 22 जुलाई (आईएएनएस)। धन शोधन निवारण अधिनियम (पीएमएलए) 2002 के प्रावधानों के तहत प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) देहरादून ने जिम कॉर्बेट नेशनल पार्क में अवैध निर्माण मामले में अभियोजन शिकायत (पीसी) दायर की।
यह अभियोजन शिकायत विशेष न्यायालय (पीएमएलए), देहरादून के समक्ष दायर की गई है।
ईडी ने तत्कालीन प्रभागीय वनाधिकारी किशन चंद, तत्कालीन रेंजर बृज बिहारी शर्मा, तत्कालीन डीएफओ अखिलेश तिवारी और तत्कालीन रेंजर मथुरा सिंह मावड़ी के खिलाफ पीसी दायर की है।
सतर्कता प्रतिष्ठान, देहरादून ने आईपीसी 1860, वन संरक्षण अधिनियम 1980, वन्य जीव (संरक्षण) अधिनियम 1972 और भ्रष्टाचार निवारण अधिनियम 1988 की विभिन्न धाराओं के तहत एफआईआर दर्ज की।
इस एफआईआर और आरोप पत्र के आधार पर केंद्रीय एजेंसी ने जांच शुरू की। इसके बाद अदालत के निर्देश पर सीबीआई ने 11 अक्टूबर 2023 को फिर से मामला पंजीकृत किया और मामले में आरोप पत्र दायर किया।
ईडी की जांच में पता चला कि आरोपी किशनचंद और अन्य ने सक्षम प्राधिकारी से पूर्व और अपेक्षित अनुमोदन प्राप्त किए बिना कॉर्बेट राष्ट्रीय उद्यान में विभिन्न अवैध संरचनाओं का निर्माण किया था।
इस महीने की शुरुआत में ईडी देहरादून ने बड़ी कार्रवाई की थी। इस कार्रवाई के तहत बृज बिहारी शर्मा की पत्नी राजलक्ष्मी शर्मा और आरोपी किशनचंद के दोनों बेटे अभिषेक कुमार सिंह और युगेंद्र कुमार सिंह के नाम पर पंजीकृत 1.75 करोड़ रुपए मूल्य की अचल संपत्ति को अस्थायी रूप से कुर्क किया गया था।
--आईएएनएस
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